Delhi Vidhansabha Chunav, 2025 में अरविंद केजरीवाल ने आज मतदान केंद्र पर अपने माता-पिता के साथ वोट डाला। यह उनकी एक पारिवारिक जिम्मेदारी का पालन था और यहीं से पता चलता है कि चुनाव के समय जनता के बीच एकता और सहयोग के प्रतीक के रूप में उनकी यह कार्रवाई भी बहुत महत्वपूर्ण है। व्हीलचेयर पर अपने माता-पिता को ले कर केजरीवाल ने मतदान किया और इसी के साथ उन्होंने मतदान प्रक्रिया में पारिवारिक सहयोग का संदेश भी दिया।
यह दृश्य दिल्लीवासियों के लिए एक प्रेरणा बना, जो चुनाव में हर व्यक्ति की भागीदारी महत्वपूर्ण होने की बात समझाता रहा। सीनियर सिटिजन और विकलांग व्यक्तियों के लिए मतदान केंद्रों की विशेष व्यवस्थाएँ की जा रहीं हैं, इसलिए इसी प्रक्रिया के मामले में, केजरीवाल साक्षर की तरफ एक सकारात्मक उदाहरण पेश करते नजर आए।
मतदान की शुरुआत काफी उत्साहपूर्ण हो रही है 2025 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में। इस समय सुबह 11 बजे तक मतदान दर्ज होने का आंकड़ा 19.59% रहा है। चुनाव प्रक्रिया की ओर से यह एक सकारात्मक संकेत है, जिससे किसी निश्चित अर्थों का शुरुआती घंटों का प्रतिशत कम रहा। बावजूद, जैसे ही दिन बढ़ेगा, प्रतिशत की कुंजी चढ़ेगी।
मतदान प्रतिशत के कई कारणों से दिल्ली को बुरी तरह प्रभावित करते हैं। सुबह के वक्त, खासतौर पर कार्यरत लोग और छात्र मतदान केंद्रों तक वोट डालने के लिए नहीं पहुंच पाते। हालांकि दिन बढ़ते जाएं, तब लोगों की उपस्थिति मतदान केंद्रों पर अधिक बढ़ती है। विशेष रूप से शाम के वक्त, जब कार्यालयों से छुट्टी मिलती है, तब अधिक संख्या में लोग मतदान केंद्रों तक पहुंचकर वोट डालने आते हैं। इस समय दिल्ली के चुनावी परिदृश्य में और बढ़ोतरी की उम्मीद है।
केजरीवाल और दिल्ली का चुनावी समीकरण (Delhi Vidhansabha Chunav 2025)
इस सबके विरुद्ध 2020 में ही हुए दिल्ली विधानसभा चुनावों में आम आदमी पार्टी ने पूरे 70 में से 62 सीटें जीतकर दिल्ली विधानसभा में हैटरिक होकर बड़ी जीत हासिल की थी। 2025 में, अरविंद केज़रीवाल और उनकी पार्टी चुनावी मैदान में खेलते हुए जनता के बीच अपनी पदों को मजबूत करने के लिए, ताकि इस कार्यकाल में किए गए विकास कार्यों के साकारात्मक योगदान के मद्देनज़र.
AAP ने दिल्ली में काफी सफलता वाले प्रयासों से शिक्षा, स्वास्थ्य, बिजली, पानी, और परिवहन जैसे मुद्दों पर जोर दिया है। उसी को मुफ्त बिजली और पानी, सस्ती चिकित्सा सेवाएं, और बेहतर शिक्षा के लिए किए गए अन्य प्रयासों से लगातार अभ्युदयी क्षमता वाली AAP को एक मजबूत जनाधार प्रदान किया है। केजरीवाल का सफल और मतदाताओं के साथ अपनी पहली बार मतदान में भाग लेने का प्रयास यह साबित किया कर सकता है कि वह चुनावी प्रक्रिया को गंभीरता से लेते हैं और दिल्ली की जनता के साथ अपने जुड़ाव को और मजबूत करना चाहते हैं।
दूसरी ओर, भाजपा भी विधानसभा चुनाव में अपनी पूरी ताकत झोंक रही है। यह भाजपा के लिए दिल्ली में नई जगह सिद्ध करने का एक अवसर है। पिछले विधानसभा चुनाव में कम सीटें पाने के बाद, भाजपा ने वहां कई बड़े नेताओं और उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है, जो पार्टी को फायदा दिला सकते हैं। कानून व्यवस्था, राष्ट्रवाद और दिल्ली के विकास पर चुनाव में जोर देते हुए भाजपा ने चुनाव का प्रचार किया है।
मतदान का प्रभाव और अहमियत
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 की महत्वपूर्णता सिर्फ सत्ता की प्रतिद्वंदिति तक सीमित नहीं है बल्कि यही कारण है कि इसको लोकतंत्र की मज़बूत नींव का प्रतीक देखा जा रहा है। वोट देना तो हर नागरिक का अधिकार है, और यही अवसर है कि उनको अपना अधिकार कानून के मुताबिक़ अहमियत पाने के लिए उन्हें करते समय कर सकते हैं। दिल्ली वासियों ने मतदान के चुनावी दिन के लिए अपने मुद्दों पर उत्साह दिखाया है और ऐसी उम्मीद की जा रही है कि वोटिंग प्रतिशत और बढ़े।
Delhi में हर चुनावी केंद्र सुरक्षा और सुविधा को विशेष रूप से देखा जाएगा ताकि वोटर्स बिना किसी हिचकिचाहट के अपना मतदान कर सके। विशेष रूप से बुजुर्ग और विकलांग व्यक्तियों के लिए व्हीलचेयरों और अन्य ऐसी सुविधाएं व्यवस्थित की गई हैं, ताकि वे सहजता से मतदान करना सकें।
आगे क्या होगा?
अब तक, 19.59% मतदान का आंकड़ा दिखाता है कि मतदान प्रक्रिया की शुरुआत काफी सकारात्मक रही है। जैसा कि चुनाव के दिन के दौरान मतदान का प्रतिशत बढ़ता है, हम यह उम्मीद कर सकते हैं कि यह चुनावी परिणामों पर अहम प्रभाव डालेगा। दिल्ली की राजनीति के लिए यह एक निर्णायक पल हो सकता है, क्योंकि AAP और BJP दोनों ही अपने-अपने मुद्दों को लेकर जनता के बीच अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए जोर-शोर से प्रचार कर रहे हैं।
इसी के साथ राजनीतिक दलों के चुनाव प्रचार व उम्मीदवारों के द्वारा जो वायदे किए गए हैं उस आधार पर यह चुनाव दिल्ली के भविष्य की दिशा तय करेगा। अब यह काफी हैरान कर देना है मतदान आंकड़ा बढ़ता जा रहा है। इसी बढ़ते क्रम में दिल्लीवासियों के मन में कौनसी पार्टी स्थापित होगी, और कौन सा दल दिल्ली की विकास की दिशा में आगे बढ़ेगा।
निष्कर्ष:
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 का समय काफी महत्वपूर्ण है जिसमें मतदाताओं की उत्साहित भागीदारी और लोकतांत्रिक प्रक्रिया में भागीदारी निर्णायक भूमिका निभाएगी। केजरीवाल का व्हीलचेयर पर माता-पिता के साथ मतदान करना न केवल एक प्रेरणादायक दृश्य था, बल्कि यह यह भी दर्शाता है कि चुनाव में परिवार की भूमिका और लोकतांत्रिक प्रक्रिया की गंभीरता को समझते हुए भागीदारी कितनी अधिक महत्वपूर्ण है। अब, जैसे-जैसे दिन बढ़ेगा, मतदान का प्रतिशत और बढ़ने की संभावना है, और हम दिल्लीवासियों की प्रतिक्रियाओं के साथ चुनावी नतीजों की दिशा को देखेंगे।
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